25 स्कूलों में फर्जी तरीके से शिक्षिका बनकर करती रही नौकरी, 13 महीने में खाते में आए एक करोड़ रूपये




नवीन चौहान
यूपी के 25 कस्तूरबा गांधी स्कूलों में एक साथ फर्जी तरीके से नौकरी करने वाली शिक्षिका को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। शिक्षिका अनामिका शुक्ला के नाम पर नौकरी करने वाली इस युवती को कासगंज से गिरफ्तार किया गया है। यह युवती अनामिका शुक्ला के दस्तावेज पर कस्तूरबा विद्यालय फरीदपुर में विज्ञान की शिक्षिका के रूप में सेवाएं दे रही थी। एक ही नाम की शिक्षिका की 25 अलग अलग स्कूलों में तैनाती होने से यह पूरा मामला सामने आया।

बेसिक शिक्षा विभाग के उच्च अधिकारियों के निर्देशों पर अनामिका शुक्ला नाम की शिक्षिका की तलाश की गई थी। जिसके बारे में पता चला था कि वह कस्तूरबा विद्यालय में तैनात है। एक दिन पहले ही बेसिक शिक्षा अधिकारी ने इस शिक्षिका के वेतन पर रोक लगाते हुए नोटिस जारी किया था। शनिवार सुबह यह शिक्षिका नोटिस को देखकर अपना इस्तीफा देने के लिए बीएसए कार्यालय पहुंची। बताया जा रहा है कि बीएसए कार्यालय के बाहर गाड़ी में बैठी रही और अपने एक साथी को इस्तीफा लेकर कार्यालय में भेज दिया। युवक से जब शिक्षिका के बारे में पूछा गया तो उसने बाहर गाड़ी में बैठे होने की जानकारी दी। जिस पर बीएसए ने पुलिस को सूचना दे दी।

सूचना मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची और शिक्षिका को अपनी हिरासत में ले लिया। सोरों कोतवाली पुलिस के मुताबिक शिक्षिका अनामिका शुक्ला को गिरफ्तार कर लिया गया है। बीएसए ने शिक्षिका के खिलाफ तहरीर दी है। पूछताछ में अनामिका ने अपना असली नाम प्रिया बताया। यह युवती फर्रुखाबाद के लखनपुर की रहने वाली है। उसने अनामिका शुक्ला के दस्तावेज पर नौकरी करने की बात कबूल कर ली है। आरोप है कि अनामिका के नाम पर पिछले 13 महीने में 25 कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालयों में करीब एक करोड़ रुपये के मानदेय का भुगतान किया गया है। यह मामला सामने आने पर शिक्षा विभाग में हड़कंप मचा था। पूरे मामले की जांच करायी जा रही है। जांच के बाद ही पता चलेगा कि एक करोड़ का भुगतान इसी शिक्षिका को हुआ या अलग अलग खातों में किसी और के पास यह पैसा गया।



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