सर्दी में दिल का रखें खास ख्याल, ठंड में बढ़ जाता है हार्ट अटैक का खतरा: VIDEO




  • एसआर मेडिसिटी हॉस्पिटल जगजीतपुर में डॉ अनुराग से न्यूज 127 की खास बातचीत

नवीन चौहान.
हरिद्वार। वरिष्ठ ह्दय रोग विशेषज्ञ डा. अनुराग रावत का कहना है कि सर्दी का मौसम ह्दय रोगियों के लिए सबसे अधिक जानलेवा साबित होता है। सर्दी के मौसम में ह्दय रोगों के बढ़ने की संभावनाएं अधिक हो जाती हैं। यही कारण है कि सर्दी के शुरूआती दौर में हार्ट अटैक व हार्ट फेलियर की संभावनाएं अधिक हो जाती हैं।

समय पर बीमारी की पहचान जरूरी
डॉ अनुराग रावत ने बताया कि हार्ट अटैक जानलेवा बीमारी है, लेकिन समय रहते यदि इस बीमारी का पता लगा लिए जाए तो और समय से इलाज शुरू करा दिया जाए तो इस बीमारी से 95 प्रतिशत तक मौत से बचा जा सकता है। उन्होंने बताया कि सर्दी के शुरूआती दौर यानी अक्टूबर और नवंबर में ह्दय रोगों के बढ़ने का अंदेशा अधिक रहता है। इसके बाद फरवरी और मार्च में यह खतरा अधिक होता है। इसके पीछे वजह यही है कि सर्दी के कारण शरीर में नसें सिकुड़ जाती हैं और रक्त जमने की समस्या सामने आने लगती है।

ब्लड शुगर और हाई ब्लड प्रेशर वालों को खतरा
हार्ट की बीमारी का सबसे अधिक इस मौसम में खतरा ब्लड शुगर और हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों को अधिक रहता है। सर्दी के मौसम में इन बीमारियों से ग्रसित मरीजों में रोग बढ़ने की संभावना अधिक बन जाती है। इसीलिए हार्ट, ब्लड शुगर या हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों को अपने स्वास्थ्य का खास ध्यान सर्दी के मौसम में रखना चाहिए।

इन लक्षणों को न ले हलके में
हार्ट अटैक से बचना है तो आपकों कुछ बातों का खास ध्यान रखना होगा। डॉ अनुराग रावत ने बताया कि यदि आपको छाती में दर्द है, या चलने में सांस फूलता है तो आपको तत्काल अपने हार्ट की अवश्य जांच करानी चाहिए। क्योंकि ये लक्षण हार्ट अटैक और हार्ट फेलियर के कारण बन जाते हैं। यह समय रहते जांच कराकर इलाज शुरू कर दिया जाए तो फिर जान जाने की संभावना कम हो जाती है।

नियमित व्यायाम बेहद जरूरी
डॉ अनुराग रावत ने बताया कि व्यायाम सेहत के लिए सबसे अधिक जरूरी है। यदि हम रोज कम से कम 20 से 45 मिनट तक व्यायाम करें तो काफी हद तक बीमारी पर कंट्रोल किया जा सकता है। इसके लिए पैदल चलना, साइकलिंग करना समेत अन्य व्यायाम जरूर करने चाहिए।

सेहत के लिए खानपान का रखें ध्यान
सेहत का ख्याल रखने के लिए खानपान पर भी ध्यान देना जरूरी है। डॉ अनुराग रावत के मुताबिक खानपान में चावल, मक्खन और चीनी का प्रयोग कम से कम करना चाहिए। ध्रूमपान से बचना चाहिए। डा. रावत ने बताया कि यदि आपको किसी भी प्रकार की समस्या है तो तत्काल चिकित्सक से सलाह लें। उन्होंने कहाकि बचाव ही सबसे बड़ा उपचार है। यदि हम अपनी जीवनशैली को सही रखते है। तो रोगों से बचा जा सकता है।

युवाओं में भी बढ़ रहा दिल का रोग
युवाओं में बढ़ रहे ह्दय रोगों के संबंध में डा. अनुराग रावत ने बताया कि छाती में किसी भी प्रकार की समस्या होती है तो चिकित्सक की सलाह अवश्य लें। उन्होंने कहाकि युवाओं में बढ़ रहे ह्दय रोगों का सबसे बड़ा कारण धुम्रपान करना है। युवाओं को इससे बिल्कुल परहेज करना चाहिए। जिससे इस प्रकार की समस्यओं से बचा जा सके। उन्होंने बताया कि ह्दय रोगों में लाहपवाही भी एक बड़ा कारण है। समस्या के पता चलने के बाद भी कुछ लोग दवा खाना छोड़ देते हैं जिस कारण से उन्हें समस्या का सामना करना पड़ता है।



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