कुंभ 2021: अंतिम शाही स्नान पर्व को लेकर आईजी कुंभ और मेलाधिकारी ने अखाड़ों के पदाधिकारियों के साथ वार्ता




नवीन चौहान.
हरिद्वार कुंभ में अगामी अप्रैल 27 को चौथे एवं अंतिम शाही स्नान पर्व चैत्र पूर्णिमा की व्यवस्थाओं के सम्बंध में आईजी कुम्भ संजय गुंज्याल एवं मेलाधिकारी दीपक रावत ने सन्यासी अखाड़ों के पदाधिकारियों से वार्ता की। सन्यासी अखाड़ों के पदाधिकारियों से कोरोना की दूसरी लहर के बढ़ते हुए प्रकोप को दृष्टिगत रखते हुए चैत्र पूर्णिमा के शाही स्नान को प्रतीकात्मक रूप से सोशल डिस्टेंसिग के साथ कोविड संक्रमण के दृष्टिगत सूक्ष्म रूप में करने की अपील की गई।
आईजी कुम्भ मेला की अपील को श्री महंत हरिगिरि जी महाराज अध्यक्ष जुना अखाड़ा एवं महामंत्री अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद, श्री महंत रविन्द्र पूरी जी “अध्यक्ष” महानिर्वाणी अखाड़ा एवं श्री महंत रविन्द्र पूरी जी “अध्यक्ष” निरंजनी अखाड़ा के द्वारा वर्तमान परिस्थितियों के दृष्टिगत स्वीकार किया गया और पूरा सहयोग शासन-प्रशासन को देने में सहमति व्यक्त की गई।
अखाड़ों के पदाधिकारियों के द्वारा आईजी कुम्भ एवम मेलाधिकारी को आश्वासन दिया गया कि अंतिम शाही स्नान को सभी सन्यासी अखाड़ों के द्वारा प्रतीकात्मक रूप से ही सम्पन्न किया जाएगा, जिसमे साधु-संतों और वाहनों की संख्या भी बेहद सीमित रहेगी, आम जन को शाही स्नान के दौरान अखाड़ों के साथ स्नान की अनुमति नहीं दी जाएगी और स्नान के समय राज्य सरकार के द्वारा निर्धारित की गई SOP का पूर्णतः पालन किया जाएगा। सुबह 09:30 बजे से अखाड़ों के स्नान हेतु हर के पैड़ी घाट क्षेत्र पुर्व की भांति आरक्षित रहेगा।
इस दौरान अखाड़ों के स्नान के क्रम, समयावधि और आने-जाने के मार्ग के सम्बंध में अप्रैल 14, 2021 को हुए बैशाखी स्नान पर्व की व्यवस्था का ही पालन किये जाने पर भी सहमति बनी। इस दौरान अपर मेलाधिकारी हरबीर सिंह, सीओ अखाड़ा प्रबोध घिल्डियाल, प्रभारी निरीक्षक कुम्भ थाना कनखल भावना कैंथोला मौजूद रही।



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