किसानों को भ्रमित कर रहा है एक गुट, सबसे अधिक गन्ना पेमेंट योगी सरकार के कार्यकाल में हुआ




मेरठ।
प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्यप्रताप शाही ने किसानों के आंदोलन को लेकर कहा कि एक गुट किसानों को भ्रमित करने का काम कर रहा है। प्रदेश की योगी सरकार और केंद्र की मोदी सरकार किसानों हित के कार्य कर रही है। यूपी में पिछली सरकारों ने किसानों का गन्ना भुगतान रोके रखा, जबकि प्रदेश की वर्तमान योगी सरकार ने सर्वाधिक गन्ना पेमेंट किया।

प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्यप्रताप शाही मंगलवार को सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि विश्वविद्यालय में मीडिया से वार्ता कर रहे थे। उन्होंने योगी सरकार की अब तक साढ़े चार साल में किसानों के हितों के लिए किये गए कार्यों और उपलब्धियों के बारे में जानकारी दी। बताया कि पिछली सरकार चाहे बसपा की हो या सपा की सबने किसानों को केवल धोखा दिया है। गन्ना किसानों का भुगतान पिछली सरकार के समय का रूका, योगी सरकार ने सत्ता में आते ही किसानों के कर्ज माफ किये। समय पर खाद और बीज उपलब्ध कराये और अब तक सबसे अधिक गन्ना पेमेंट कराया।

उन्होंने बताया कि अब करीब पांच हजार करोड़ रूपये ही किसानों का बकाया है। प्रदेश सरकार इसे भी जल्द से जल्द कराने की दिशा में कार्यवाही कर रही है। प्रदेश में गन्ना मूल्य बढ़ाए जाने के सवाल पर उन्होंने चुपपी साध ली कहा कि कल इस संबंध में लखनऊ में बैठक है, उस बैठक में ही गन्ना मूल्य को लेकर कोई फैसला होगा, जो जल्द ही सामने आएगा।

कृषि मंत्री ने बताया कि पिछले साढ़े चार साल में प्रदेश में किसानों की फसलों की उत्पादकता में बढ़ोतरी हुई है। किसानों को उनकी उपज का समय से मूल्य दिलाया गया। फसल का पैसा सीधा किसानों के खातों में गया। हर वर्ग के किसान की फसल को समर्थन मूल्य पर खरीदा गया। अब तक पिछले 70 सालों में इतनी खरीद और उत्पादन नहीं हुआ जितनी पिछले साढ़े चार साल में योगी सरकार के कार्यकाल में हुआ। बताया कि अधिक उत्पादन तभी संभव हुआ जब किसानों को समय से बीज और खाद मिला। कृषि वैज्ञानिकों ने उन्नत प्रजाति के बीज विकसित किये, नई नई तकनीक किसानों तक पहुंचायी।

किसान आंदोलन को लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में कृषि मंत्री ने कहा कि एक गुट किसानों को भ्रमित करने का काम कर रहा है। पीएम नरेंद्र मोदी बार बार कह रहे हैं कि एसएमपी पर ही खरीद हो रही है, आगे भी एसएमपी पर ही खरीद होगी। लेकिन प्रदर्शन कर रहे लोग कोई बात सुनना ही नहीं चाहते। कृषि मंत्री 14 बार कह चुके हैं कि किसान नेता बताए कि कृषि कानून में कहां क्या कमी है, यदि कमी है तो उसे दूर किया जाएगा। लेकिन कमी कोई नहीं बता रहा, केवल जिद पकड़े बैठे हैं कि पहले तीनों कृषि कानून रद करो फिर बात करेंगें।

प्रदेश के कृषि मंत्री ने कहा कि यह किसान आंदोलन नहीं है। एक गुट किसानों को भ्रमित कर रहा है। जब से कृषि कानून लागू हुए तब से दो बार एमएसपी पर खरीद हो चुकी है। एमएसपी पर हो रही खरीद का भी रिकार्ड बन रहा है, फिर ऐसे में कैसे ये कानून किसान विरोधी हो गए। जिस बिल को संसद में चुने हुए जनप्रतिनिधियों ने पास किया वह कैसे गलत हो गया। कहा कि कानून पार्लियामेंट में पास हुआ है।

शुगर केन टैक्नोलॉजी का खुले कॉलेज
वार्ता के दौरान कृषि मंत्री सूर्यप्रताप शाही ने कहा कि वेस्ट यूपी गन्ना बेल्ट है। इसलिए कृषि विश्वविद्यालय में एक कॉलेज शुगर केन टैक्नोलॉजी को लेकर भी खुलना चाहिए। जिससे नई पीढ़ी को इस क्षेत्र में और अधिक काम करने का मौका मिल सके। उन्होंने कुलपति से कहा कि इस संबंध में एक प्रस्ताव तैयार कर भेजा जाए। कृषि मंत्री ने कहा कि प्रदेश में सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि ​विश्वविद्यालय की पहली रैंक आयी है। भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद ने देश के सभी राज्य और केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालयों की रैकिंग करायी थी। इस सूची में प्रदेश में जहां सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि विवि का पहला स्थान है वहीं राष्ट्रीय स्तर पर क्रमश: 15वें और 17वें स्थान पर है।



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