रामनाथ कोविंद का दिव्य प्रेम सेवा मिशन से पुराना लगाव




हरिद्वार:बिहार के राज्यपाल रामनाथ कोविंद को भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने सोमवार को एनडीए से राष्ट्रपति उम्मीदवार घोषित किया है। उनका हरिद्वार की संस्था दिव्य प्रेम सेवा मिशन से पुराना लगाव रहा है। उनके राष्ट्रपति उम्मीदवार घोषित होने की सूचना से संस्था के कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों में खुशी की लहर है। दिव्य प्रेम सेवा मिशन के मीडिया प्रभारी बालकृष्ण शास्त्री ने बताया कि रामनाथ कोविंद 1970 के दशक में संस्था की स्थापना के समय से ही संरक्षक के रूप में जुड़े हुए हैं। उन्होंने राज्यसभा सांसद रहते हुए कुष्ठ रोगियों के बच्चों के छात्रावास के लिए अपनी सांसद निधि से 25 लाख रुपये दिये थे। रामनाथ कोविन्द सेवा भावी व्यक्ति हैं और सेवा मिशन की ओर से संचालित सभी सेवा कार्यों में अपना योगदान देते हैं। उनकी पत्नी सविता कोविंद भी बच्चों की संरक्षिका हैं। सेवा मिशन के सभी कार्यक्रमों में उनकी प्रमुख रूप से भागीदारी रहती है। करीब सवा साल पहले अप्रैल 2016 में वह हरिद्वार आये थे। तब उन्होंने दिव्य प्रेम सेवा मिशन व्याख्यानमाला अर्द्धकुंभ मंथन 2016 में शिरकत की थी। उन्होंने भारतीय संस्कृति के विकास में गंगा विषय पर विचार रखे थे। उनके राष्ट्रपति उम्मीदवार बनने की खबर सुनते ही संस्था के सभी कार्यकर्ताओं ने एक दूसरे को मिठाई खिलाई और मां गंगा से प्रार्थना की की वह देश के सर्वोच्च पद पर आसीन हों। इस दौरान मिशन के सह संयोजक प्रशांत खरे, अर्पित मिश्रा, आनन्द रिछारिया, डॉ़ अनिल रावत, गगन यादव, मनोहर कुमार सहित बच्चे भी मौजूद रहे।



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