सोनी चौहान
जिला योजना के विकास कार्यों को जीआइएस तकनीक से प्रस्तावित कराने के लिए आज विकास भवन सभागार में जिला स्तरीय अधिकारियों को एक दिवसीय प्रशिक्षण दिया गया। जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया ने बताया कि पूरे राज्य में जीआइएस तकनीक विकसित करने वाले शिक्षा हब अल्मोड़ा में अब जी-डिस्ट्रिक प्लान की तैयारी की जा रही है। उन्होंने कहा कि जीवनदायनी कोसी के पुनर्जनन के बाद अब जिला योजना से जुड़े सभी विकास कार्यों को अत्याधुनिक भौगोलिक सूचना विज्ञान के आधार पर वर्ष 2020-21 की जिला योजना प्रस्तावित की जायेगी।
जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया ने कहा कि अल्मोड़ा उत्तराखण्ड का पहला जनपद होगा। जहाॅ जिला योजना अत्याधुनिक भौगोलिक सूचना विज्ञान तकनीक पर तैयार होगी। उन्होंने कहा कि सम्बन्धित विभाग जीआइएस मानचित्र के जरिये विकास कार्यों के प्रस्ताव प्रस्तुत करेंगे। तथा उन्हें स्पष्ट करना होगा कि कार्य किस क्षेत्र में कैसे किए जाएंगे इसी आधार पर बजट स्वीकृत होगा। इस प्रयोग से विकास कार्यों में पारदर्शिता आएगी। उन्होंने समस्त जिला स्तरीय अधिकारियों को डाटा पाइंट एकत्रित कर जीआइएस सैल में उपलब्ध कराने के निर्देश दिये। इसके अलावा उन्होंने कहा कि जीआईएस के माध्यम से जो योजना तैयार की जायेगी उसमें पारदर्शिता व समय की बचत के अलावा एक क्लिक में किये गये कार्यों को देखा जा सकेगा। उन्होंने कहा कि जो डाटा जीआईएस सैल को उपलब्ध कराया जायेगा उसी आधार पर योजना तैयार की जायेगी साथ ही समय-समय पर इसे अपडेट भी किया जाना है।
जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया ने कहा कि वर्ष 2020-21 के लिए सभी विभाग जिला योजना से जुड़े विकास कार्यों के प्रस्ताव मार्च में भौगोलिक सूचना विज्ञान आधारित मानचित्र के माध्यम से प्रस्तुत करेंगे। उन्होंने कहा कि कसौटी पर खरा उतरने के बाद ही जी प्लान के जरिये जिला योजना का बजट आवंटित किया जायेगा। जी प्लान के प्रशिक्षक नेशनल जीयो स्पेशल चेयरप्रोफेसर भूगोल विभाग प्रो0 जीवन सिंह रावत ने कहा कि जी डिस्ट्रिक प्लान की प्रक्रिया हिमालयी राज्य में अल्मोड़ा जनपद से शुरू होने जा रहा है। इस अभिनव प्रयोग से विकास कार्यों में पारदर्शिता व गुणवत्ता आएगी, अनुश्रवण तथा माॅनीटरिंग में भी बड़ी मदद मिलेगी। उन्होंने इस अवसर पर डाटा पाइंट के बारे में अधिकारियों को बताया व पावर पाइंट के माध्यम से विभिन्न जानकारियाॅ दी। उन्होंने कहा कि जी प्लान से विकास कार्यों का अनुश्रवण सही ढ़ंग से सुशासन लाने में मदद मिलेगी। प्रशिक्षण के जीआईएस एनालिस्ट उमाशंकर नेगी व नेहा आर्या ने भी अनेक विषयों पर अधिकारियों की शंकाओं का समाधान किया।
इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी मनुज गोयल, जिला विकास अधिकारी के0के0 पंत, अर्थ संख्याधिकारी जी0एस0 कालाकोटी, जिला शिक्षाधिकारी एच0बी0 चन्द, सहायक निबन्धक सहकारिता राजेश चैहान के अलावा समस्त जिला स्तरीय अधिकारी उपस्थित थे।